साहित्य का संवादी स्वर (आलोचना) :पूनम सिंह
अभिधा प्रकाशन, मुजफ्फरपुर : मूल्य :300 रुपये
आलोचना की इस पुस्तक में लेखिका के सामने देश है, समाज है तो स्त्री का बदलता विश्वबोध भी है।स्त्री विमर्श की वैश्विक पारिस्थितिकी से सुपरिचित पूनम सिंह का व्यक्तित्व इस पुस्तक में झलकता है।
तुम भी नहीं (गजल संग्रह) :अनिरुद्ध सिन्हा
भारतीय ज्ञानपीठ, दिल्ली : मूल्य :210 रुपये
ये गजलें आज की विसंगत परिस्थितियों से लड़ने का हौसला देती हैं।इन गजलों की यथार्थपरक शैली, विशिष्ट लय तथा नवीन भाषा-संस्कार संग्रह को विशिष्ट बना देते हैं।इसमें मानव-संस्कृति का आत्मसौंदर्य है।
निर्मल वर्मा : पहचान और परख: संपादक :छबिल कुमार मेहेर
नयी किताब प्रकाशन, दिल्ली : मूल्य:850 रुपये
इस पुस्तक में निर्मल वर्मा के मूल्यांकन से संबंधित चर्चित विद्वानों के 19 लेख संकलित हैं।निर्मल वर्मा के जीवन और साहित्य के कई छुए-अनछुए पहलुओं से परिचित कराती है यह पुस्तक।
हिंदी नवजागरण (आलोचना) :जयसिंह ‘नीरद’
अद्वैत प्रकाशन, दिल्ली : मूल्य :550 रुपये
इस पुस्तक में 19वीं सदी के भारतीय नवजागरण की पृष्ठभूमि में जन्मे हिंदी नवजागरण का बड़ा सार्थक मूल्यांकन है।हिंदी साहित्य के एक खास दौर की उपलब्धियों की विस्तृत चर्चा तात्पर्यपूर्ण है।
अम्बपाली एक उत्तरगाथा (उपन्यास) : गीताश्री
वाणी प्रकाशन, दिल्ली : मूल्य :250 रुपये
उपन्यास में लेखिका ने इतिहास और मिथक की बुनावट को अपने लेखन के जरिए न सिर्फ बारीकी से तराशा है, बल्कि आधुनिक संदर्भ में स्त्री-अस्मिता से जुड़े ज्वलंत प्रश्नों को भी बड़े अर्थपूण ढंग से उठाया है।